उत्तराखंड

मूल निवास भू कानून समन्वय संघर्ष समिति ने केदारनाथ धाम के नाम पर खुले बैंक अकाउंट को सीज करने मांग की

अकाउंट खोलने वालों के खिलाफ़ हो विधिक कार्रवाई

केदारनाथ धाम के नाम पर न बने कोई ट्रस्ट

देहरादून। मूल निवास, भू-कानून समन्वय संघर्ष समिति ने केदारनाथ धाम के नाम से खुले बैंक अकाउंट को सीज करने की मांग करते हुए पुलिस महानिदेशक को पत्र भेजा है। पत्र में केदारनाथ के नाम पर ट्रस्ट बनाने और बैंक खाता खोलने वाले लोगों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की मांग की गई है। समिति ने यह भी कहा कि उत्तराखंड के मूल निवासियों की धार्मिक और सांस्कृतिक पहचान खत्म करने के लिए दिल्ली में केदारनाथ धाम के नाम से मंदिर का निर्माण किया जा रहा है।

समिति के संयोजक मोहित डिमरी ने कहा कि दिल्ली के बुराड़ी में श्री केदारनाथ धाम ट्रस्ट की ओर से केदारनाथ धाम के नाम पर मंदिर का निर्माण किया जा रहा है। इसके लिए बाकायदा “श्री केदारनाथ धाम” के नाम से बैंक में अकाउंट खोला गया है। जिसका क्यूआर कोड भी जारी किया गया है। जिसमें श्रद्धालुओं द्वारा धनराशि भेजी जा रही है।

जबकि बद्रीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति का आधिकारिक बैंक अकाउंट खुला हुआ है, और अब “श्री केदारनाथ धाम” के नाम से बैंक खाता खोला जाना गैरकानूनी है। यह एक तरह से बाबा केदार के नाम पर खुली लूट है। इस लूट में शामिल लोगों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई होनी चाहिए।

समिति ने पुलिस महानिदेशक से केदारनाथ के नाम पर खुले बैंक खाते को सीज करने के साथ ही इससे होने वाले लेन-देन को तत्काल प्रभाव से रोकने की मांग की है।

मोहित डिमरी ने यह भी कहा कि हमारी धार्मिक और सांस्कृतिक पहचान को खत्म करने की साजिश हो रही है। पहले कांग्रेस ने मुम्बई में बदरीनाथ जी के नाम से मंदिर का निर्माण करवाया और अब भाजपा केदारनाथ जी के नाम से मंदिर का निर्माण दिल्ली में करवा रही है। दोनों राष्ट्रीय दल हमारी पहचान को ख़त्म करने की साज़िश कर चुकी हैं।

केदारनाथ जी के नाम से दिल्ली में बन रहे मन्दिर पर अधिकतर गैर मूलनिवासी पैसा लगा रहे हैं। इनकी मंशा केदारनाथ जी के नाम से मुनाफा कमाने की है। एक और महत्वपूर्ण सवाल यह भी है कि केदारनाथ धाम के नाम से ट्रस्ट क्यों बनाया गया है, जब बद्रीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति धामों के प्रबंधन का काम कर रही है। यह बहुत बड़ी साजिश है। अगर दिल्ली में श्री केदारनाथ जी के नाम से मंदिर बनाया गया तो बड़ा जन आंदोलन शुरू कर दिया जाएगा।

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